" देश-विदेश ज्योतिष पाक्षिक विचार "
25-12-se09-01-२०१२ तक |
धने मीने बुधो याति मारयति मृगान गजान |
प्रजा शाशकयोर्वरम करोति विग्रहम तदा ||
भाव -सूर्य के साथ जब बुध हो ,तो राजा एवं प्रजाओं में विरोध निश्चित होगा | अच्छे लोगों को हानी होगी ,अलग विचार के लोग विजय प्राप्त करेंगें | नगर एवं महानगरों की निगरानी विशेष करनी पड़ेगी | मृग ,हाथी,शेर ,चीते,सभी जंगली जीवों की क्षति हो सकती हैं | समाज के विपरीत लोग अव्यवस्था उत्पन्न कर सकते हैं |राजनेताओं को अपनी -अपनी साख बचाने की कोशिश करनी पड़ेगी ||
--पंचार्क वासरे पीड़ा लोकेषु जायते= भाव -जिस मॉस में पांच रविवार पड़े तो रोग और क्लेश संभव हो जाते हैं || इस मॉस में पांच रविवार के योग हैं ||
तेजी -मंदी =हरी सब्जियां ,फल-फूल ,गुड ,शक्कर ,दूध ,दही ,मेवा ,मिष्ठान्न तथा सभी पदार्थों के भाव पड़े रह सकते हैं अर्थात यथावत रहेंगें | ऊनी,सूती वस्त्र ,मूंगफली ,वारदाना ,धातु ,शेयर एवं शर्राफाबाजार में उतार -चढाव देखने को मिलेंगें | शुरू के भाव अंत में पलट जायेंगें |
आकाशलक्षण = ग्रहों की गति तथा राशी परिवर्तन होंगें | स्वर्ग भूमि नाड़ी वेध के कारण घामाछाई का संयोग बनेगा | हलकी वर्षा ,मेघगर्जन,ओलावृष्टि ,हिमपात ,कोहरा के कारण विशेष हानी होगी | भूकंप ,दिग्दाह तथा ज्वालामुखी विस्फोट के प्रवल योग भी हैं ||
भवदीय -झा शास्त्री |
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