"श्री संवत =2070-अर्थात -2013+2014-की विशेषता ?"
----श्री संवत 2070 का शुभारम्भ 10/04/2013 दोपहर के बाद 3.04 बजे सिंह लग्न से हो रहा है ।तत्कालीन ग्रहों की स्थिति के अनुसार ---संवत का राजा -"गुरु "कर्मक्षेत्र में और मंत्री "शनि "केन्द्रेश{सप्तमेश }होकर पराक्रम के स्थान में "राहु "से युक्त है ।-----इससे यह विदित है कि भौतिक विकास के क्षेत्र में स्वदेशवासी वैज्ञानिक ,प्रद्यौगिक इन्जीनियर ,खगोल ज्ञाता ,डॉक्टर ,शोधकर्ता ,कठोर परिश्रम करके नया कीर्तिमान स्थपित करेंगें ।इससे इनलोगों को ख्याति मिलेगी और देश का नाम होगा ।
------अष्टमस्थान {आठवांघर}मीन राशि में बनने वाला पंचग्रही योग विश्व के किन्हीं देशों में -युद्ध ,भय ,शत्रुता ,विशेष वर्षा ,बाढ़ ,भूकंप ,भूस्खलन ,ज्वालामुखी विस्फोट ,आंधी-तूफान ,बड़म्बर,महामारी ,{भयंकर रोग }तथा आतंक की अग्नि में झुलसाने के योग दिखायेंगें ।।
------"एक राशौ यदा यान्ति चत्वारः खेचराः ।
प्लावयन् महीसर्वा रुधिरेण जलेन वा ।।-------भाव --संवत -2070 में -राहु +शनि का तुला राशि में बनने वाला योग सभी -अनाज ,दाल ,चावल ,आदि में तेजी बनायेगा ।मत्री स्तर के राजनेताओं में जमकर कलह होगी ।आम लोग राष्ट्रनायकों से खिन्न रहेंगें ।मंहगाई ,चोरबाजारी ,घपले -घोटाले ,खाद्य सामग्री वितरण अव्यवस्थित रहेगा ।पुलिस स्वरक्षा को लेकर जनांदोलन उग्र रूप धारण करेंगें ।सरकार की गिरती साख बिगडती अर्थव्यवस्था जन साधारण के लिये नुकसान देह होगी ।सत्ता परिवर्तन का संयोग भी बन सकता है ।
यथा ----"शनि राहु यदैकत्र भवेतां सहितौ तदा ।सर्वधान्य महार्घत्वं राजानो भय विह्वला ।।
-------प्रेषकः -ज्योतिष सेवा सदन {मेरठ- उत्तर प्रदेश -भारत }
एकबार ज्योतिष की सलाह सभी मित्रों को निःशुल्क मिलेगी --सहायता सूत्र --09897701636+09358885616
----श्री संवत 2070 का शुभारम्भ 10/04/2013 दोपहर के बाद 3.04 बजे सिंह लग्न से हो रहा है ।तत्कालीन ग्रहों की स्थिति के अनुसार ---संवत का राजा -"गुरु "कर्मक्षेत्र में और मंत्री "शनि "केन्द्रेश{सप्तमेश }होकर पराक्रम के स्थान में "राहु "से युक्त है ।-----इससे यह विदित है कि भौतिक विकास के क्षेत्र में स्वदेशवासी वैज्ञानिक ,प्रद्यौगिक इन्जीनियर ,खगोल ज्ञाता ,डॉक्टर ,शोधकर्ता ,कठोर परिश्रम करके नया कीर्तिमान स्थपित करेंगें ।इससे इनलोगों को ख्याति मिलेगी और देश का नाम होगा ।
------अष्टमस्थान {आठवांघर}मीन राशि में बनने वाला पंचग्रही योग विश्व के किन्हीं देशों में -युद्ध ,भय ,शत्रुता ,विशेष वर्षा ,बाढ़ ,भूकंप ,भूस्खलन ,ज्वालामुखी विस्फोट ,आंधी-तूफान ,बड़म्बर,महामारी ,{भयंकर रोग }तथा आतंक की अग्नि में झुलसाने के योग दिखायेंगें ।।
------"एक राशौ यदा यान्ति चत्वारः खेचराः ।
प्लावयन् महीसर्वा रुधिरेण जलेन वा ।।-------भाव --संवत -2070 में -राहु +शनि का तुला राशि में बनने वाला योग सभी -अनाज ,दाल ,चावल ,आदि में तेजी बनायेगा ।मत्री स्तर के राजनेताओं में जमकर कलह होगी ।आम लोग राष्ट्रनायकों से खिन्न रहेंगें ।मंहगाई ,चोरबाजारी ,घपले -घोटाले ,खाद्य सामग्री वितरण अव्यवस्थित रहेगा ।पुलिस स्वरक्षा को लेकर जनांदोलन उग्र रूप धारण करेंगें ।सरकार की गिरती साख बिगडती अर्थव्यवस्था जन साधारण के लिये नुकसान देह होगी ।सत्ता परिवर्तन का संयोग भी बन सकता है ।
यथा ----"शनि राहु यदैकत्र भवेतां सहितौ तदा ।सर्वधान्य महार्घत्वं राजानो भय विह्वला ।।
-------प्रेषकः -ज्योतिष सेवा सदन {मेरठ- उत्तर प्रदेश -भारत }
एकबार ज्योतिष की सलाह सभी मित्रों को निःशुल्क मिलेगी --सहायता सूत्र --09897701636+09358885616
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